गंंडमूल दोष निवारण पूजा - Ganmool dosha nivaran puja
Dosh Nivaran,हवन और पूजा
कोई भी जातक अगर अश्विनी, अश्लेषा, मघा, ज्येष्ठा और मूल आदि नक्षत्रों में जन्मा है तो उस जातक की कुंडली में गंडमूल दोष उत्पन्न होता है।
गंडमूल दोष के प्रभाव
गंडमूल नक्षत्र में जन्मे जातक ना सिर्फ अपने लिए बल्कि अपने परिवार के लिए भी परेशानी बन जाते हैं। लेकिन ध्यान रहे इस नक्षत्र के शुभ और अशुभ दोनों प्रकार के प्रभाव पड़ते हैं। अशुभ फल में जातक का जीवन परेशानियों में उलझा रहता है। ये जातक अपने पिता के लिए कष्टकारी होते हैं।
गंडमूल दोष पूजा के लाभ-:
जातक को उच्च पद प्राप्त होने के अवसर प्राप्त होते हैं
उसे अपने मित्रों से लाभ प्राप्त होता है।
उसकी रूचि घूमने-फिरने और मनोरंजन कार्यों में ज्यादा रहती है।
जीवन और स्थान में अस्थिरता और बदलाव इन्हें पसंद होता है।
जीवन में इन्हें मान-सम्मान की प्राप्ति होती है।
गंडमूल दोष की पूजन विधि :
गंडमूल नक्षत्र की शांति के लिए अनेक तरह के उपाय किए जाते हैं जिसमें से मंत्रों द्वारा किया जाने वाला उपाय सर्वोपरि है। जिस नक्षत्र में जातक का जन्म हुआ है उसी नक्षत्र में उसकी पूजा होती है।
पूजा का समय : पूजा का समय शुभ मुहुर्त देखकर तय किया जाएगा।
यजमान द्वारा वांछित जानकारी : नाम एवं गोत्र, पिता का नाम
जन्म तारीख, स्थान |
संपर्क : आप हमारे व्हाट्सएप्प नं 8602947815 पर संपर्क करके गंडमूल पूजन अपने या अपने परिवार के किसी सदस्यं के लिए करवाने का समय ले सकते हैं। जिस किसी के लिए आप ये पूजा करवाना चाहते हैं उसका नाम, जन्मम स्थान, गोत्र और पिता का नाम अवश्यि ज्ञात होना चाहिए।
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