Tantrik bandhan, tantrik abhichaar, bhoot - pret badha तांत्रिक बंधन, तांत्रिक अभिचार, भूत-पिशाच की बाधा बंधन मुक्ति, दोष प्रभाव और निवारण :-
कुछ लोग ऐसा मानते हैं कि जिस प्रकार रस्सी से बांध देने से व्यक्ति असहाय होकर कुछ कर नहीं पाता उसी प्रकार किसी व्यक्ति, घर, परिवार, व्यापार आदि को तंत्र-मंत्र आदि द्वारा अदृश्य रूप से बांध दिया जाए तो उसे ऐसा लगता है कि उसकी प्रगति रुक गई है और घर-परिवार संकटों से घिर गया है। गृहकलह, व्यापार नुकसान, तालेबंदी, नौकरी का छुट जाना आदि ऐसा कई संकट हो सकते हैं।
बहुत से लोग खुद को बंधा-बंधा महसूस करते हैं। कुछ लोग किसी के दाबव में रहते हैं और कुछ किसी के प्रभाव में। कुछ लोगों को ऐसा लगता है कि इतना कर्म करने के बाद भी कोई परिणाम नहीं मिल रहा है। उन्हें ऐसा लगता है कि जैसे किसी ने प्रगति को बांध रखा है।
बहुत बार ऐसा होता है जब हम न चाहते हुए भी तंत्र बाधा के प्रभाव में आ जाते है और विचित्र समस्या से ग्रषित हो जाते है और ऐसे में लोगो को तांत्रिक, ज्योतिष और पराशक्ति विशेषज्ञ के पास चक्कर लगाना होता है । तंत्र बाधा एक ऐसा विषय है जिसमे अगर इंसान एकबार फस जाये तो बहार निकलना नामुमकिन हो जाता है । आइये आज यहाँ ऐसे ही कुछ तंत्र बाधा से जुड़े हुए पहलु पर हम चर्चा करेंगे और समझेंगे की तंत्र बाधा कैसे दूर करे ।
तंत्र बाधा एक तरह की ऊर्जा को किसी व्यक्ति से द्वारा दूसरे व्यक्ति पर छोड़ना कहते है अब ये ऊर्जा देविक भी हो सकती है और आसुरी भी और ऐसे में अचानक इंसान के जीवन में समस्या होनी सुरु हो जाती है । सबसे पहले आप ये जान ले ये की जरुरी नहीं की अगर कोई व्यक्ति आज आप के ऊपर तांत्रिक अभिचार कर्म करे तो आज ही आप उसके पीड़ा से ग्रषित हो जायेगे क्युकी अगर आपके ग्रह इस वक़्त अनुकूल चल रहे है या कोई महादशा ऐसी चल रही है जो की बहुत ही अनुकूल है तो आपका जीवन किसी प्रकार चलता ही रहेगा और कोई खास असर तंत्र बाधा का नहीं समझ आएगा मगर जैसे ही ग्रह की दशा बदलेगी और महादशा में कोई पापक गृह की दशा आएगी आप की परेशानी बढ़ जाएगी या ऐसा भी हो सकता है की अनुकूल ग्रह दशा के होने के बावजूद आपके जीवन में रह रह कर आकस्मिक परेशानी आनी जानी शुरू हो जाये और आप लाख कोशिश के बावजूद उस से बहार न निकल प् रहे हो । ऐसे में कुछ ऐसे चीजे है जिनके सहारे आप ये समझ सकते है की आप तांत्रिक बाधा से परेशां है ।
अगर आप को बार बार सेहत की समस्या हो रही हो और एक बीमारी के बाद दूसरी बीमारी हो रही हो और डॉक्टर और मेडिकल रिपोर्ट में कुछ भी न आ रहा हो न ही दवाये काम कर रही हो तो समझ जाये की आप किसी बीमारी से ग्रषित नहीं बल्कि किसी प्रकार के तंत्र बाधा से परेशां है । ऐसे में तांत्रिक परामर्श द्वारा इसका निदान संभव है मगर कभी भी किसी के भी कुछ भी बताने पर उसको करना न सुरु कर दे वरना परेशानी और बढ़ जाएगी ।
सबसे पहले आप ये जान ले की जिस तांत्रिक से आप मदत लेने जा रहे है उनके पास सिद्धि किस प्रकार की है और किस हद तक की छमता है ? क्युकी अगर आपने किसी भी प्रकार के तांत्रिक क्रिया के द्वारा तंत्र बाधा को ख़तम करने की कोशिश की और असफल हो गए तो ये वही बात हो जाएगी की किसी दुश्मन जो आपसे कई गुना ज्यादा शक्तिशाली हो उसको युद्ध के लिए ललकार देना ऐसे में दुशमन अगर ताक़तवर निकला तो आप का जो हाल होगा वो आप भली भाती समझ सकते है । सबसे पहले तांत्रिक के द्वारा ये पता करले की किस प्रकार की तंत्र बाधा है और तंत्र बाधा के साथ पितृ दोष या किसी प्रकार का भूत प्रेत या ब्रम्ह या मरी भवानी जैसे शक्ति भी तो नहीं जुडी हुई है क्युकी अगर पितृ दोष है या कुलदेवता रुष्ट हो या घर में भूत प्रेत हो या मरी भवानी हो तो ऐसे में तंत्र बाधा शांति पूजा करने से या कोई अनुष्ठान यज्ञ करने से उल्टा नुकसान ही होगा और जितना ज्यादा आप ये सब करते जायेगे उतना ज्यादा परेशां होते जायेगे । एक तांत्रिक और ओझा में बहुत फर्क होता है । एक उच्च कोटि का तांत्रिक सबसे पहले आपकी समस्या को भली भाति सुनता है समझता है फिर अपने ईस्ट से पूछ कर ही कोई निदान बदलता है वो भी १ या २ मगर वो उपाय इतने सटीक होते है की काम कर जाते है और आपको आराम मिलना सुरु हो जाता है । तांत्रिक भी कई प्रकार के होते है कुछ अघोरी तांत्रिक होते है तो कुछ महाविद्या उपासक होते है कुछ के पास ब्रम्ह, भूत प्रेत की सिद्धि होती है मगर जिसके पास जैसी सिद्धि होती है वो वैसा ही काम कर पाता है । जैसे जिसके पास भूत प्रेत की सिद्धि होगी वो तांत्रिक बिना कुछ आपके बताये सब कुछ बता देगा और साथ में कुछ ऐसी बाते भी बता देगा जिसको सुनकर आप चमत्कृत हो जायेगे परन्तु भूत प्रेत की सिद्धि से तंत्र बाधा नहीं काटी जा सकती है क्युकी जब तांत्रिक अपने ईस्ट से कुछ पूछता है तो ईस्ट यानि उसकी शक्ति उस जगह जाकर वहा की शक्ति जो परेशानी दे रही है उस से पूछ कर सबकुछ बतला देती है मगर जरुरी नहीं की किसी को परेशां या बर्बाद करने के लिए हमेसा भू प्रेत ही भेजे जाते हो । ये कार्य बहुत बार महाविद्या प्रयोग, मसान काली प्रयोग, मरी या भवानी को भेज कर भी करवाया जाता है यहाँ आप ये भी सोच सकते है की भला कोई देवी क्यों किसी का अहित करेगी मगर तंत्र मार्ग में सबकुछ संभव है। अगर कोई तांत्रिक सिद्ध हो तो वो आपके ईस्ट को कोई भी कार्य करने के लिए विवस कर सकता है क्युकी सिद्धि का अर्थ ही है किसी शक्ति पर विजय पा लेना और सिद्धि उपरांत आप अपने सिद्धि के फल स्वरुप जो चाहे कर सकते है । हालांकि जो तांत्रिक सिद्धि का गलत अर्थ में इस्तेमाल करते है उनका अंत समय बहुत ही दुखदायी होता है कास्ट पूर्ण होता है फिर भी इस संसार में हर प्रकार के लोग होते है अच्छे लोग होते है तो बुरे लोग भी होते है । अगर कोई उच्च कोटि का तंत्रिक अभिचार कर्म करता है या किसी के ऊपर तांत्रिक क्रिया कर देता है तो उसको काटने के लिए उसी के स्तर का तांत्रिक चाहिए होता है तभी उपचार संभव है अगर छोटे मोठे तंत्र मंत्र के उपाय के जरिये इन तांत्रिक बाधा को दूर करने के कोशिश की जाये तो ये आग में घी छोड़ने जैसा फल देती है क्युकी होता है ऐसा की हम किसी बुरी आत्मा या शक्ति को छेड़ तो देते है लेकिन उसको ख़तम नहीं करपाते न भगा पाते है और फिर वो ताक़त और भी उग्र होकर हमारा और नुकसान करती है । सबसे पहले तांत्रिक से ये जरूर पता करले की आपके परिवार पर तांत्रिक क्रिया किसने की है और किस प्रकार की तांत्रिक क्रिया हुई है उसी हिसाब से वैसा ही तांत्रिक ढूढ़े और फिर समाधान करने की कोशिश करे ।
कुछ ऐसे उपाय है जिन्हे सरलता से आप कर सकते है मगर ये जान ले की ये उपाय उपचार नहीं है अपितु कुछ वक़्त तक आपकी सुरक्छा जरूर कर सकते है :
१. अगर आपके घर में अजीबो गरीब घटनाये हो रही हो, जैसे दूध का बार बार फ़ट जाना, रत में भयानक सपने आना, सेहत नाजुक रहना, सुस्ती, थकान महसूस करना, बिना बात के घर में कलह होना, रात के वक़्त अंजना भय लग्न, खास तौर से जब आप अकेले हो, ठंडी लगना, आवाजे सुनाई देना जैसे कोई आवाज दे रहा हो, किसी के होने का आभास होना, सोते वक़्त साइन पर कोई बैठा हुआ है ऐसा एहसास होना, किसी के इधर से उधर जाने का एहसास होना, बारबार खाना ख़राब हो जाना, मुर्गा, मछली, या घर के जानवर का मर जाना, शीशे का टूट जाना तो साफ़ समझ ले की तीव्र तांत्रिक क्रिया किसी ने कर राखी है या लगातार कर रहा है
२. एक नारियल पानी वाला लेले और कुछ चावल के दाने लेले और एक लाल कपडे में नारियल को चावल के साथ बांध कर मैं गेट के पास बीचोबीच लटका दे और रोज नारियल को चेक करते रहे अगर तांत्रिक क्रिया लगातार की जा रही होगी तो नारियल फ़ट जायेगा और चावल में कीड़े लग जायेगे ऐसे में चावल और नारियल को तुरंत बदल दे
३. अगर रात के वक़्त अचानक घबराहट बहुत ज्यादा बढ़ जाये, दिल की धड़कन असामान्य हो जाये और हाथ पेअर ठन्डे हो जाये तो ऐसे में समझ ले किसी ने अत्यंत तीव्र तांत्रिक प्रयोग किया है ऐसे में तुरंत बिना दाग वाला निम्बू ले और उसको सर से ८ बार घुमा कर चार भाग में काट दे और घर के बाहर चारो दिशाओ में फेक दे और अपने मध्यमा ऊगली का रक्त निकल कर ७ बूँद छींटे जमीं पर मार दे जो भी क्रिया की गयी होगी तत्काल वापस हो जाएगी ।
४.घर के सभी सदस्य हमेसा एक निम्बू बिना दाग वाला लेकर उसपे कला धागा बाँध कर अपने जेब में रखे रहे खास तौर से तब जब घर से बाहर हो
५. ग्रहण काल, अमावस्या, चद्र ग्रहण, पूर्णिमा के दिनों में खास तौर पर ध्यान रखे क्युकी इस काल में तांत्रिक शक्तियों का प्रभाव काफी बढ़ जाता है अगर सुलभ हो तो ऐसे दिनों में गायत्री मंत्र का जप,हवन करे
६. घर में अंडा मॉस मछली का सेवन बंद करदे और शराब का सेवन कत्तई न करे ।
७. घर में जो भी समस्या हो उसका जीकर किसी बाहर वाले से न करे
८.घर में नकारात्मक ऊर्जा न बनने दे ।
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